हिम्मत मत हारो!
ज़िन्दगी बदलने के लिए लड़ना पड़ता है !
और इसे आसान बनाने के लिए समझना पड़ता है !
अगर कुछ अलग करना है तो भीड़ से हटकर चलो !
भीड़ साहस तो देती है पर पहचान छीन लेती है!
मंज़िल ना मिले तब तक हिम्मत मत हारो और ना ही ठहरो.
क्योंकि पहाड़ से निकलने वाली नदियों ने
आज तक रास्ते में किसी से नहीं पूछा
कि समन्दर कितना दूर है
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